भोपाल। मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा है कि महाकाल दर्शन के लिए आने वाले श्रद्धालुओं को इस परिसर में प्रसादम के माध्यम से हेल्दी फूड मिलेगा। अच्छे स्वास्थ्य के लिए अच्छे आहार के विचार को क्रियान्वित किया जा रहा है। जन-स्वास्थ्य रक्षा सरकार की प्राथमिकता है। इस नाते गत कुछ सप्ताह में खुले में खाद्यान्न सामग्री बेचने और अस्वच्छ तरीके से माँसाहार के विक्रय पर अंकुश के लिए 25 हजार से अधिक दोषी लोगों को दंडित किया गया है। नागरिकों को अच्छा स्वास्थ्य देना राज्य सरकार की प्राथमिकता है। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि भारत सरकार प्रत्येक लोकसभा क्षेत्र में एक मेडिकल कॉलेज के लिए संकल्पबद्ध है। इसके साथ ही प्रत्येक जिले में मेडिकल कॉलेज हो, इस दिशा में राज्य सरकार भरपूर प्रयास करेगी। समाज के गरीब वर्ग के साथ महिलाओं, किसानों और युवाओं के कल्याण को समान महत्व देते हुए योजनाएं क्रियान्वित होंगी। मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव उज्जैन में फूड स्ट्रीट प्रसादम एवं स्वास्थ्य संस्थाओं के शुभारंभ कार्यक्रम को संबोधित कर रहे थे। मुख्यमंत्री डॉ. यादव एवं केंद्रीय मंत्री श्री मांडविया ने संयुक्त रूप से उज्जैन फूड स्ट्रीट (प्रसादम) का उद्घाटन किया। यह देश की पहली हेल्दी एंड हाइजैनिक फूड स्ट्रीट है।
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि उज्जैन की रचना को देखें तो यह पृथ्वी का लघु रूप भी है। दुनिया के इस छोटे से स्वरूप में 84 महादेव हैं, सप्त सागर हैं। काल का केन्द्र महाकाल है। उज्जैन भविष्य का ग्रीनविच है। जब 21 जून और 22 दिसम्बर को सूर्य देव कक्षा बदलते हैं तो अपनी परछाई भी नहीं दिखाई देती। उज्जैन में काल गणना पौराणिक काल से हो रही है। करीब 300 वर्ष पहले तक समय की गणना दुनिया में कहीं से होती थी तो वह शहर मध्य बिंदु उज्जैन था। इसलिए विज्ञान और प्राद्योगिकी विभाग के साथ ही अन्य संबंधित संस्थाओं के सहयोग से उज्जैन में ऑब्जर्वेटरी की स्थापना की पहल की गई। उज्जैन से अनेक विभूतियों का उदय हुआ है। हजारों वर्ष से विभूतियों का संबंध उज्जैन से रहा है। डॉ. यादव ने कहा कि प्रभु श्री राम पिता के श्राद्ध के लिए उज्जैन आए थे। इसी तरह भगवान श्री कृष्ण की शिक्षा-दीक्षा यहीं हुई। महात्मा बुद्ध के काल में सम्राट अशोक ने अपने बेटे और बेटी को यहीं से बौद्ध धर्म के प्रचार-प्रसार के लिए अन्य देशों के लिए रवाना किया। सम्राट विक्रमादित्य, भर्तृहरि सभी का संबंध उज्जैन से रहा है। राजा भोज के विषद ज्ञान को भोज पत्रों से जाना जा सकता है। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने केन्द्रीय स्वास्थ्य मंत्री डॉ. मांडविया का केन्द्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय से प्राप्त सहयोग के लिए आभार माना।