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हिंद स्वराज के स्थापना की 350 वर्ष पूर्ण होने के उपलक्ष्य में छत्रपति शिवाजी महाराज व्याख्यान माला

 कार्यक्रम का ।

बेगमगंज। विद्या भारती मध्य भारत प्रांत भोपाल द्वारा मार्गदर्शित एवं विवेकानंद शिक्षा परिषद द्वारा संचालित संस्था सरस्वती विद्या मंदिर विवेकानंदपुरम द्वारा हिंद स्वराज्य स्थापना की 350 वर्ष पूर्ण होने के उपलक्ष में छत्रपति शिवाजी महाराज व्याख्यान माला का आयोजन शासकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय सुनेहरा  में किया गया।

कार्यक्रम में विद्यालय के  प्राचार्य डीएस ठाकुर, विद्यालय समिति अध्यक्ष गजराज सिंह , शिक्षक धीरेंद्र भदौरिया, कृष्णकांत अवस्थी, दीपेश लोधी, सोनम तिवारी तथा सरस्वती विद्या मंदिर से पूर्व छात्र रोहित श्रीवास्तव,  अर्पित वीर कुशवाहा उपस्थित हुए।

कार्यक्रम को संबोधित करते हुए अतिथियों ने कहाकि शिवाजी एक धर्मपरायण हिन्दु शासक थे तथा वह धार्मिक सहिष्णु भी थे। उनके साम्राज्य में मुसलमानों को धार्मिक स्वतंत्रता थी। कई मस्जिदों के निर्माण के लिए शिवाजी ने अनुदान दिया। हिन्दू पण्डितों की तरह मुसलमान सन्तों और फ़कीरों को भी सम्मान प्राप्त था।

शिवाजी महाराज योद्धा राजा थे और अपनी बहादुरी, रणनीति और प्रशासनिक कौशल के लिए प्रसिद्ध थे. उन्होंने हमेशा स्वराज्य और मराठा विरासत पर ध्यान केंद्रित किया था ।

शिवाजी महाराज, शाहजी भोंसले और जीजा बाई के पुत्र थे. उन्हें पूना में उनकी माँ और काबिल ब्राहमण दादाजी कोंडा-देव की देखरेख में पाला गया जिन्होंने उन्हें एक विशेषज्ञ सैनिक और एक कुशल प्रशासक बनाया था।

शिवाजी महाराज, गुरु रामदास से धार्मिक रूप से प्रभावित थे, जिन्होंने उन्हें अपनी मातृभूमि पर गर्व करना सिखाया था। कार्यक्रम में आभार व्यक्त धीरेंद्र भदोरिया शिक्षक ने किया। इस अवसर पर विद्यालय के  समस्त शिक्षक, प्राचार्य तथा छात्र-छात्राएं उपस्थित रहे।


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