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मुख्यमंत्री लाड़ली बहना सिर्फ योजना नहीं सामाजिक क्रांति है:मुख्यमंत्री चौहान

भोपाल। मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा है कि मध्यप्रदेश में बहनों की जिंदगी बदलने का महा अभियान चल रहा है। सरकार ने अब लाड़ली बहना योजना बनाई है, जिसमें गरीब और निम्न मध्यम वर्ग की महिलाओं को प्रति माह 1000 रूपये मिलेंगे। उन्होंने कहा कि लाड़ली बहना सिर्फ योजना नहीं एक सामाजिक क्रांति है। मेरी बहनों को अब अपनी छोटी-मोटी जरूरतें पूरी करने के लिए किसी के आगे हाथ नहीं फैलाना होगा। यह एक भाई का अपनी बहन के लिए उपहार है, जो उन्हें केवल रक्षाबंधन पर नहीं, पूरे वर्ष मिलता रहेगा।

मुख्यमंत्री श्री चौहान आज सिवनी जिले के केवलारी में मुख्यमंत्री लाड़ली बहना महासम्मेलन में शामिल हुए। मुख्यमंत्री ने 129 करोड़ रूपये के विभिन्न विकास कार्यों का लोकार्पण और शिलान्यास किया। साथ ही मुख्यमंत्री आवासीय भू-अधिकार योजना के पट्टे हितग्राहियों को वितरित किए। हितग्राहियों को अन्य योजनाओं में हितलाभ भी वितरित किया गया।

मुख्यमंत्री श्री चौहान ने कहा कि मध्यप्रदेश में महिला सशक्तिकरण के लिए चल रहे अभियान में मेरी बहनों का अपार जन-समर्थन मिल रहा है। आज भी यहाँ टेंट छोटा पड़ गया है। मैं अपनी बहनों के प्यार, स्नेह और समर्थन के लिए दिल से आभारी हूँ। भाई-बहन का रिश्ता अद्भुत रिश्ता है। मैंने प्रण किया है कि मैं अपनी बहनों की आँखों में आँसू नहीं आने दूँगा। आज मैं मन की बात आपसे कहने आया हूँ, भाषण देने नहीं।

मुख्यमंत्री श्री चौहान ने कहा कि प्राचीन भारत में महिलाओं की बहुत इज्जत और सम्मान था। मध्य काल में इसमें कमी आई और बेटियों के साथ भेदभाव और अन्याय किया जाने लगा। मैं बचपन से बेटियों के प्रति भेदभाव देखता आया हूँ। तभी मैंने प्रण लिया था कि इस भेदभाव और अन्याय को समाप्त करूंगा। मैं इसे पूरा करने के लिए निरंतर कार्य कर रहा हूँ।

मुख्यमंत्री श्री चौहान ने कहा कि प्रदेश में सबसे पहले लाड़ली लक्ष्मी योजना बनाई गई और बेटियों को उनके जन्म के समय 30 हजार रूपये का बचत-पत्र खरीद कर दिए जाने लगा। इसमें समय-समय पर उन्हें पढ़ाई के लिए राशि मिलती है और 21 वर्ष की आयु पूरी होने पर उन्हें एक लाख रूपये एकमुश्त मिलते हैं। आज मध्यप्रदेश में 44 लाख से अधिक लाड़ली लक्ष्मी हैं।

मुख्यमंत्री श्री चौहान ने कहा कि बहनों को राजनीतिक रूप से सशक्त बनाने के लिए मध्यप्रदेश में पंचायत और स्थानीय निर्वाचन में 50 प्रतिशत आरक्षण दिया गया है। इसके परिणामस्वरूप आज ग्राम पंचायतों से लेकर जिला पंचायतों तक मेरी बहनें सरकार चला रही हैं। जमीन, जायदाद बहनों के नाम से करने पर रजिस्ट्री शुल्क 1 प्रतिशत ही लिया जाता है। पुलिस और शिक्षकों की भर्ती में भी बेटियों को आरक्षण दिया जा रहा है। मुख्यमंत्री कन्या विवाह-निकाह योजना में गरीब बहनों की शादी सरकार करवाती है। संबल योजना में भी बहनों को लाभ दिया जाता है।

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