भोपाल। उच्च शिक्षा मंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा कि प्रदेश का सकल नामांकन अनुपात (जीईआर) बढ़ाने के लिये सार्थक प्रयास किये जाना जरूरी हैं। वर्तमान में प्रदेश का सकल नामांकन अनुपात 24.2 है एवं राष्ट्रीय सकल नामांकन अनुपात 27.1 है। राष्ट्रीय अनुपात और प्रदेश के अनुपात में 2.9 का अंतर है। प्रदेश के अनुपात को राष्ट्रीय सकल नामांकन अनुपात के बराबर लाने के लिये लक्ष्य निर्धारित कर प्रयास करें। मंत्री डॉ. यादव आज मंत्रालय में राष्ट्रीय शिक्षा नीति एवं जीईआर वृद्धि के संबंध में शासकीय-अशासकीय विश्व विद्यालयों के कुलपतियों और महाविद्यालयों के प्राचार्यों से ऑनलाइन संवाद कर रहे थे।
उच्च शिक्षा मंत्री डॉ. यादव ने कहा कि प्रदेश में नई शिक्षा नीति का आगाज कर दिया गया है। विद्यार्थियों को नई शिक्षा नीति के तहत ही प्रवेश दिये जा रहे हैं। यह प्रदेश की ही नहीं बल्कि सम्पूर्ण देश के लिये उपलब्धि है। नई शिक्षा नीति का क्रियान्वयन बेहतर ढंग से करना हम सबकी जिम्मेदारी है।
मंत्री डॉ. यादव ने कहा कि जीईआर में वृद्धि के लिये पहले से लक्ष्य निर्धारित कर आगे बढ़ें। जिन महाविद्यालयों के भवन बनकर तैयार हो गये हैं उनका लोकार्पण कराना सुनिश्चित करें। स्ववित्तीय संसाधनों के अनुरूप कृषि, वेटरनरी, सेरीकल्चर, चिकित्सा शिक्षा आदि पाठ्यक्रम प्रारंभ करें। राष्ट्रीय औसत के बराबर जीईआर पहुँचाने को चुनौती के रूप में लें।
शासकीय-अशासकीय विश्वविद्यालयों के कुलपतियों और महाविद्यालयों के प्राचार्यों ने जीईआर में वृद्धि के लिये ऑनलाइन अपने-अपने सुझाव रखे। प्रमुख सचिव उच्च शिक्षा श्री अनुपम राजन, अपर आयुक्त श्री चंन्द्रशेखर वालिम्वे सहित अन्य अधिकारी उपस्थित थे।