ब्यूरो, भोपाल.
मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा है कि, ग्लोबल के चक्कर में लोकल (स्वदेशी) वस्तुएं बनाने वालों को नहीं भूलेंगे। मैं आपका आत्मविश्वास बढ़ाने आया हूं आपके दिलो-दिमाग में इसका ऊर्जा का संचार कर दूंगा। हम मिलकर काम करेंगे, आप बताएं सुविधाएं चाहिए तो उपलब्ध कराएंगे और अच्छा करेंगे।
मुख्यमंत्री एक निजी होटल में संभागीय सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यम सम्मेलन के उद्घाटन अवसर पर बोल रहे थे। इस दौरान उन्होंने पांचवी एमपी एक्सपोर्टेक का भी शुभारंभ किया। तीन दिवसीय इस सम्मेलन में 37 देशों के 97 डेलीगेट्स व 19 देशों के 25 डिप्लोमेट शिरकत कर रहे हैं। पहले दिन 84 में से 12 एमओयू पर हस्ताक्षर हुए। चौहान ने कहा, एक मल्टी बिल्डिंग बनाई जा सकती है, जहां सभी प्रकर के लघु, सूक्ष्म उद्योगों के कार्यालय हों। युवाओं को तकनीकी कौशल प्रदान करने के लिए 113 स्किल डेवलेपमेंट केन्द्र खोल चुके हैं। इस मौके पर मध्यप्रदेश लघु उद्योग निगम के अध्यक्ष अखण्ड प्रताप सिंह, रा’य योजना आयोग के उपाध्यक्ष बाबूलाल जैन, महापौर कृष्णा गौर, ट्रायफेड के प्रबंध संचालक एके भट्ट सहित उद्योगपति उपस्थित थे। आभार प्रदर्शन उद्योग आयुक्त टी. धर्माराव ने किया।
मुख्य सचिव आर परशुराम ने कहा कि निवेश के लिये किये गये एमओयू् के समयबद्ध क्रियान्वयन के लिये कार्यक्रम बनाया गया है। विभिन्न स्वीकृतियां देने की प्रक्रिया का सरलीकरण किया गया है। सीआईआई पश्चिम क्षेत्र के चेयरमेन आरएस गोस्वामी ने कहा कि प्रदेश के सकल घरेलू उत्पाद में उद्योग क्षेत्र का योगदान पिछले नौ वर्षों में 25 से बढ़कर 29 प्रतिशत हो गया है। आरंभ में स्वागत भाषण अपर मुख्य सचिव पीके दास ने दिया।
पसंद कर रही हूं
मैं मप्र के मुख्यमंत्री के उद्बोधन और यहां हुए स्वागत को पसंद कर रही हूं। अच्छी सरकार की यह पहचान होती है वह अतिथियों को बुलाए जाने के बाद कितनी तवज्जो देते हैं।
बूपने मॉसोबे, लेसेथो
अपने देश में बताउंगा
मप्र में लघु उद्योगों में जो काम हो रहा है उसे मैं अपने देश के लोगों को बताना चाहता हूं। कुछ उद्योगों का मैंने अवलोकन किया है, क्वॉलिटी भी बेहतर है।
एड्रीयल डालगार्ड कनोट, अर्जेटीना
अद्वितीय काम हुआ है
मप्र में जो कपड़े और जड़ीबूटियों से दवाए बनाई जा रही हैं, वह लाजवाब है। यहां के कृषकों और क्षेत्रीय लोगों ने कुछ काम विश्व में अद्वितीय किए हैं। मैं अपने देश में उनके काम और यहां बनाई जा रही ही वस्तुओं के बारे में चर्चा करूंगा।
किम गिल हवान, चीन
हम साथ देंगे
आदिवासी संस्कृति के लिए ब्राजील को विश्व में पहचाना जाता है। मप्र के आदिवासी क्षेत्रों में भी बहुताए में बेहतरीन काम हो रहा है। ब्राजील चाहता है उनकी कौशलता को और बढ़ावा मिले। इस दिशा में उनका साथ देंगे।
एवी बोनमिगो, ब्राजील
‘ग्लोबल के चक्कर में लोकल को नहीं भूलेंगे’
मार्च 01, 2013
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